पटना एयरपोर्ट पर नये टर्मिनल के निर्माण के बाद से नेपाल के लिए सीधी फ्लाइट सेवा जल्द शुरू होने की संभावना है। इसके साथ ही जापान, वियतनाम, म्यानमार और थाईलैंड जैसे देशों के लिए भी सीधी विमान सेवा की शुरुआत हो सकती है। इन देशों से बड़ी संख्या में बौद्ध पर्यटक बोधगया आते हैं, जिससे इस सेवा की मांग बढ़ रही है।
गौरतलब है कि 24 दिसंबर 1999 को इंडियन एयरलाइंस के दिल्ली-काठमांडू विमान के अपहरण के बाद से नेपाल की अंतरराष्ट्रीय विमान सेवा बंद है। पिछले 24.5 वर्षों से पटना एयरपोर्ट केवल नाम का अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट बना हुआ है।
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नये टर्मिनल भवन की विशेषताएँ
पटना एयरपोर्ट पर बन रहे नये टर्मिनल भवन में इमीग्रेशन और कस्टम काउंटर के लिए विशेष जगह की व्यवस्था की गई है। दोनों मंजिलों पर ये काउंटर और अधिकारियों व कर्मियों के बैठने के लिए कमरे बनाये गये हैं। इससे अंतरराष्ट्रीय उड़ान शुरू होने पर यात्रियों की जांच में सुविधा होगी।
इसके अलावा, पटना एयरपोर्ट पर छह नयी पार्किंग बे और पांच एयरोब्रिज भी बनाये जा रहे हैं। इनकी स्थापना के बाद पटना एयरपोर्ट की फ्लाइट ऑपरेशन की क्षमता बहुत अधिक बढ़ जायेगी। एक दिन में यहां 50 जोड़ी फ्लाइट की जगह 150 जोड़ी फ्लाइट ऑपरेशन किया जा सकेगा।
नया टर्मिनल भवन: सात गुना बड़ा और अधिक सुविधाजनक
नये टर्मिनल भवन का आकार पहले की तुलना में सात गुना बड़ा है, जो 65 हजार वर्गफुट में फैला है और इसकी क्षमता 80 लाख यात्री सालाना होगी। वर्तमान में विस्तारित पुराने टर्मिनल भवन की क्षमता केवल 25 लाख यात्री सालाना है।
ऊपरी फ्लोर तक जाने के लिए रैंप बनाये गये हैं जिससे वाहन सीधे ऊपरी तल्ले के पिकड्रॉप एरिया में जाने वाले यात्रियों को छोड़ सकेंगे। नये टर्मिनल भवन के सौंदर्यीकरण पर भी जोर दिया गया है, जिससे यह पूर्वोत्तर भारत के सबसे खूबसूरत एयरपोर्ट की तरह दिखेगा।